आगे आगे दौड़ेगा तो मुझसे पहले पहुँचेगा . मंजिल कहाँ कहाँ रुकना है तुझे नहीं है कोई खबर। अभी तो मौसम खुशगवार है अभी तो जीना सीखें हम, आगे जा के रुकना पड़ा तो कब तक राह तकेंगे हम? क्या तू मेरा दोस्त बनेगा मिल कर मज़े करेंगे हम, या फिर काँटे जैसा चुभेगा हर... Continue Reading →